भोपाल राज्य कैबिनेट की बैठक गुरुवार दोपहर 12 बजे राज्य मंत्रालय में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में आयोजित की गई है। इसमें 10 हजार करोड़ के द्वितीय अनुपूरक बजट के वित्त विभाग के प्रस्ताव को मंजूरी दी जा सकती है। इसके बाद इसे 20 दिसंबर से शुरू होने वाले शीतकालीन सत्र के दौरान सरकार विधानसभा में पेश करेगी। बैठक में मुख्यमंत्री, मंत्रियों से प्रभार वाले जिलों में कोरोना की तीसरी लहर की आशंका को देखते हुए की गई तैयारियों की रिपोर्ट भी लेंगे।
वित्त विभाग के सूत्रों को इसमें PWD सहित अन्य विभागों के लिए वित्तीय प्राविधान प्रस्तावित किए गए हैं। अनुपूरक बजट दस हजार करोड़ रुपए का हो सकता है। दरअसल, द्वितीय अनुपूरक बजट में मुख्यमंत्री द्वारा की गई घोषणाओं को पूरा करने के लिए वित्तीय प्रावधान किए जाएंगे। भोपाल और इंदौर में पुलिस आयुक्त प्रणाली लागू किए जाने के बाद आवश्यक संसाधनों की व्यवस्था के लिए गृह विभाग को अतिरिक्त राशि उपलब्ध कराई जाएगी।
मध्य प्रदेश पंचायत राज एवं ग्राम स्वराज अधिनियम में अध्यादेश के माध्यम से संशोधन करने के बाद अब विधानसभा के शीतकालीन सत्र में संशोधन विधेयक प्रस्तुत किया जाएगा। इसके प्रारूप को अनुमोदन के लिए कैबिनेट के रखा जाएगा। इसी तरह मध्य प्रदेश जल निगम के माध्यम से छह हजार 117 गांवों में जल प्रदाय के लिए 22 समूह योजनाओं की स्वीकृति देने, सहायक लोक अभियोजन अधिकारियों के रिक्त पदों को भरने के लिए प्रस्ताव मध्य प्रदेश लोक सेवा आयोग को भेजने और तेजस्विनी कार्यक्रम के अंतर्गत गठित समूहों का राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन में विलय करने सहित अन्य प्रस्तावों पर विचार किया जाएगा।
वित्त विभाग के सूत्रों को इसमें PWD सहित अन्य विभागों के लिए वित्तीय प्राविधान प्रस्तावित किए गए हैं। अनुपूरक बजट दस हजार करोड़ रुपए का हो सकता है। दरअसल, द्वितीय अनुपूरक बजट में मुख्यमंत्री द्वारा की गई घोषणाओं को पूरा करने के लिए वित्तीय प्रावधान किए जाएंगे। भोपाल और इंदौर में पुलिस आयुक्त प्रणाली लागू किए जाने के बाद आवश्यक संसाधनों की व्यवस्था के लिए गृह विभाग को अतिरिक्त राशि उपलब्ध कराई जाएगी।
मध्य प्रदेश पंचायत राज एवं ग्राम स्वराज अधिनियम में अध्यादेश के माध्यम से संशोधन करने के बाद अब विधानसभा के शीतकालीन सत्र में संशोधन विधेयक प्रस्तुत किया जाएगा। इसके प्रारूप को अनुमोदन के लिए कैबिनेट के रखा जाएगा। इसी तरह मध्य प्रदेश जल निगम के माध्यम से छह हजार 117 गांवों में जल प्रदाय के लिए 22 समूह योजनाओं की स्वीकृति देने, सहायक लोक अभियोजन अधिकारियों के रिक्त पदों को भरने के लिए प्रस्ताव मध्य प्रदेश लोक सेवा आयोग को भेजने और तेजस्विनी कार्यक्रम के अंतर्गत गठित समूहों का राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन में विलय करने सहित अन्य प्रस्तावों पर विचार किया जाएगा।
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