सहारा इंडिया प्रमुख एवं अन्य के खिलाफ मामला
दर्ज करने के आदेश
न्यायिक मजिस्ट्रेट (दक्षिण) नं. 2 ने सहारा इंडिया प्रमुख सुब्रत राय, उनकी पत्नी स्वप्ना राय, डिप्टी मैनेजिंग वर्कर ओपी श्रीवास्तव, निदेशक डीके श्रीवास्तव एवं अन्य 28 के विरुद्ध सहारा इंडिया की विभिन्न योजनाओं में निवेश करने वाले निवेशकों को उनकी जमा राशि समयावधि पूरी होने पर भी भुगतान नहीं करने और जमा फंड राशि, टीडीएस एवं कमीशन की राशि का भुगतान नहीं करने को लेकर भूपालपुरा पुलिस को धोखाधड़ी एवं अमानत में खयानत का मामला दर्ज करने के आदेश दिए हैं।
सहारा इंडिया के कार्यकर्ता रहे कमलेश अग्रवाल ने बताया कि उसे 12 मई 2004 को सहारा इंडिया की देहलीगेट शाखा (वर्तमान में सरदारपुरा) में कार्यकर्ता पद पर नियुक्त किया गया।
इस दौरान सैकड़ों निवेशकों की राशि निवेश करवाई, लेकिन निवेशकों की राशि का समयावधि पूर्ण होने पर भी भुगतान नहीं करने पर उसने 7 अगस्त 2021 को सहारा इंडिया से त्याग पत्र दे दिया। अग्रवाल ने बताया कि सहारा इंडिया की विभिन्न योजनाओं में निवेशकों की राशि जमा कराने पर कार्यकर्ताओं को कमीशन राशि काभुगतान किया जाता रहा, लेकिन पिछले 3 वर्षों से इस राशि का भुगतान नहीं किया जा रहा है।
उनके सहारा इंडिया में सेवा करने के दौरान फ्यूचर फंड राशि एवं टीडीएस राशि की भी कटौती की जाती रही जिसका भुगतान कार्यकर्ताओं को सेवा अवधि पूरी होने पर किया जाना था, लेकिन उन्हें फ्यूचर फंड की राशि 1,01,105 रुपए, टीडीएस राशि 60,955 रुपए, कमीशन की राशि 6,50,000 रुपए, उनकी पत्नी चंद्रलेखा की जमा टीडीएस राशि 30,000 रुपए, कमीशन 18,000 रुपए एवं पुत्री प्रेरिता को 25,400 रुपए व कमीशन 12,000 रुपए का भुगतान नहीं किया गया।
अग्रवाल ने बताया कि उनकी एवं उनकी पत्नी के नाम पर विभिन्न योजनाओं में जमा कराई गई राशि 8 लाख रुपए की भी समयावधि पूरी होने पर भुगतान नहीं किया गया है। अग्रवाल ने बताया कि सहारा इंडिया की विभिन्न योजनाओं में पूनमचंद प्रजापत, महेंद्र सिंह राव, मल्लिका मद्रासी, श्रवण कुमार शर्मा, रंजना जैन, मनोज कुमार शर्मा, रूपा देवी मेघवाल, मंजू देवी सुखवाल एवं अन्य ने निवेशकों से राशि जमा कराई लेकिन उन्हें समयावधि पूरी होने पर भी जमा राशि का भुगतान नहीं किया।