सुनील दत्त लाए थे किरण खैर को बालीवुड में
- बेटे सिकंदर ने याद किया किरण खैर के खोए वक्त को
मुंबई । भले ही किरण खेर को बॉलिवुड में दिवंगत ऐक्टर सुनील दत्त लाए थे, लेकिन वह चाहकर भी ऐक्ट्रेस को फिल्मों में लॉन्च नहीं कर सके। किरण खेर ने अपनी कड़ी मेहनत से मेल डॉमिनेटिंग फिल्म इंडस्ट्री में अपना अलग मुकाम बनाया। किरण खेर ने अपने हिरोइन बनने के सपने को तब कुर्बान कर दिया था जब बेटे सिकंदर खेर को उनकी सबसे ज्यादा जरूरत थी। मां की दी कुर्बानी सिकंदर खेर को आज भी याद है। सिकंदर खेर ने हाल ही एक इंटरव्यू में किरण खेर के उस खोए वक्त को याद किया और बताया कि किस तरह मां ने उनके लिए अपना सपना, अपना पैशन त्याग दिया था। किरण खेर ने 1985 में ऐक्टर अनुपम खेर से शादी की थी। अनुपम से शादी करने से पहले किरण खेर की गौतम बैरी से शादी हुई थी। सिकंदर खेर, किरण और गौतम बेटे हैं।
किरण खेर, गौतम बैरी के साथ शादी में खुश नहीं थीं। यही वजह थी कि उन्होंने बाद में उनसे तलाक ले लिया और फिर अनुपम खेर से शादी कर ली। सिकंदर खेर ने बताया कि उनकी मां किरण खेर ऐक्ट्रेस बनने का सपना लेकर मुंबई आई थीं। चूंकि वह तब बहुत छोटे थे, इसलिए मां ने अपना सारा वक्त, सारी एनर्जी उनकी परवरिश में ही लगा दी। सिकंदर खेर के मुताबिक, मां किरण खेर ने उनके लिए अपना ऐक्ट्रेस बनने का सपना दांव पर लगा दिया था। उन्होंने अपने करियर के सबसे अहम साल खो दिए। जब तक वह छोटे थे, तब तक किरण खेर ने कोई फिल्म या दूसरा असाइनमेंट साइन नहीं किया।
सिकंदर खेर बोले, 'जिस तरह से उन्होंने मेरे लिए अपने सपनों की कुर्बानी दी, मुझे नहीं लगता कि मैं ऐसा कर पाता। उस हद तक का निस्वार्थ भाव बहुत कम दिखता है।'सिकंदर खेर ने बताया कि मां किरण खेर ने जिस वक्त फिल्म इंडस्ट्री में एंट्री की थी, उस वक्त उनके बहुत कद्रदान थे। जब उन्होंने फिल्मों में एंट्री की तो अपनी छाप छोड़ दी। सिकंदर खेर के मुताबिक, वह मां के लाडले थे। मां किरण उन्हें अपने हाथों से खाना खिलाती थीं। सिकंदर खेर, किरण खेर की एक तस्वीर भी हमेशा अपने पर्स में लेकर चलते थे। सिकंदर खेर ने बताया कि जब वह 6-7 साल के थे तो मां किरण खेर उन्हें अपने हाथ से खाना खिलाती थीं।
वहीं पापा अनुपम खेर हमेशा शूटिंग में बिजी रहते थे। किरण खेर जहां भी जातीं, उन्हें अपने साथ ले जाती थीं। अब किरण खेर और अनुपम खेर को अपने लाडले सिकंदर खेर की शादी का इंतजार है। बता दें कि किरण खेर 39 साल से हिंदी फिल्म इंडस्ट्री का हिस्सा हैं। कहा जाता है कि फिल्म इंडस्ट्री में पहचान बनाने और टिके रहने के लिए एक गॉडफादर का होना जरूरी है। लेकिन किरण खेर ने इसे गलत साबित किया।