विकास की कलम/जबलपुर
मधयप्रदेश के जबलपुर जिले के रांझी थाना अंतर्गत साइबर जलसाजो ने एक बार फिर से एक बुजुर्ग दंपत्ति को अपना निशाना बनाते हुए उनके साथ तकरीबन 11 लाख 75 हजार रुपए की ठगी की गई है। दरअसल संजय नगर निवासी एंथोनी और उनकी पत्नी एग्रेश नीना पाल 1 दिसंबर की सुबह घर पर थे। इस बीच नीना पाल के मोबाइल पर एक कॉल आया। कॉल करने वाले ने खुद को दिल्ली पुलिस का अधिकारी बताया और कहा कि मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज है और कोर्ट से वारंट जारी हो चुका है। जल्द ही दिल्ली पुलिस जबलपुर आकर उन्हें गिरफ्तार करेगी।
यह सुनकर नीना घबरा गईं और उन्होंने तुरंत अपने पति एंथोनी को जानकारी दी। इसके बाद ठगों ने एंथोनी को भी धमकी दी। ठगों से इतना डरने के कारण दोनों ने जैसा ठग कह रहे थे, वैसा ही किया ।
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घबराए दंपति 2 दिसंबर को बैंक जाकर 1.75 लाख और 3 दिसंबर को 10 लाख रुपए ठगों के खाते में एनईएफटी के माध्यम से ट्रांसफर कर दिए।बुजुर्ग दंपति ने बताया की साइबर ठगो ने खुद को वरिष्ठ पुलिस अधिकारी बताते हुए बुजुर्ग दंपत्ति को कोर्ट कचहरी और जेल जाने की बात करते हुए इस कदर दहशत में ला दिया था कि पुलिस अधिकारी जैसा बोलते गए बुजुर्ग दंपत्ति वैसा करते गए। और कठपुतली की तरह बुजुर्ग दंपति ने नकली पुलिस वाले की बात में आकर पैसे ट्रांसफर करना शुरू कर दिया।
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पैसे ट्रांसफर होने के बाद भी लगातार नकली पुलिस वाले बुजुर्ग दंपत्ति को फोन करते रहे और पैसे की मांग करते रहे। थकहार का बुजुर्ग दंपति ने अपने बेटे को सारी बात बताई और फिर रांची थाने पहुंचकर अपने साथ हुई ठगी की शिकायत दर्ज कराई। बुजुर्ग दंपति की शिकायत पर रांझी पुलिस ने मामला पंजीकृत करते हुए साइबर सेल टीम की मदद से जांच शुरू कर दी है।
इनका कहना है
शहर में लगातार हो रही डिजिटल अरेस्ट की वारदातों को लेकर जबलपुर पुलिस अधिक्षक संपत उपाध्याय ने जबलपुर की जनता से अपील की है की वे इन जालसाजों से बचकर रहें । किसी भी तरह की बात हों पर घबराएं नहीं बल्कि तत्काल ही पुलिस को सूचना दें। अक्सर आपकी खामोशी ही आपकी सबसे बड़ी दुश्मन होती है।
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